: सरकार ने भ्रष्ट व नाकारा अधिकारियों के खिलाफ एक बार फिर बड़ी कार्रवाई की है। शासन ने प्रांतीय पुलिस सेवा (पीपीएस) संवर्ग के सात अधिकारियों को विभाग से बाहर का रास्ता दिखा दिया है। स्क्रीनिंग कमेटी की रिपोर्ट पर सात पीपीएस अधिकारियों को अनिवार्य सेवानिवृत्ति दी गई है।
अपर मुख्य सचिव गृह अवनीश कुमार अवस्थी ने बताया कि सात पुलिस उपाधीक्षकों/ सहायक सेनानायकों को अनिवार्य सेवानिवृत्ति प्रदान की गई है। शासन ने 15वीं वाहिनी पीएसी, आगरा के सहायक सेनानायक अरुण कुमार, पुलिस उपाधीक्षक फैजाबाद विनोद कुमार राना, पुलिस उपाधीक्षक आगरा नरेंद्र सिंह राना, 33वीं वाहिनी पीएसी झांसी के सहायक सेनानायक रतन कुमार यादव, 27वीं वाहिनी पीएसी सीतापुर के सहायक सेनानायक तेजवीर सिंह यादव, मंडलाधिकारी मुरादाबाद संतोष कुमार सिंह व 30वीं वाहिनी पीएसी गोंडा के सहायक सेनानायक तनवीर अहमद खां को अनिवार्य सेवानिवृत्ति दे दी गई है।
बताया गया कि पीपीएस अधिकारी अरुण कुमार को सेवाकाल में एक वृहद दंड, चार लघु दंड व एक वर्ष की सत्यनिष्ठा अप्रमाणित का दंड मिला था। विनोद कुमार राना को एक अर्थदंड व दो लघु दंड मिले थे। नरेंद्र सिंह राना को पांच लघु दंड मिले थे। रतन कुमार यादव को तीन लघु दंड व एक अर्थ दंड, तेजवीर सिंह यादव को परिनिंदा प्रविष्टि, चार अर्थ दंड व दो लघु दंड मिले थे। संतोष कुमार सिंह को सात लघु दंड व एक वृहद दंड तथा तनवीर अहमद खां को दो परिनिंदा प्रविष्टि मिली थीं।
प्रमुख मुख्य वन संरक्षक हटाए गए 8
फैजाबाद के एएसपी, 27वीं वाहिनी पीएसी सीतापुर के सहायक सेनानायक व 30वीं वाहिनी पीएसी गोंडा के सहायक सेनानायक पर हुई कार्रवाई
अब तक 200 से ज्यादा जबरन रिटायर
राज्य सरकार ने दो वर्षो के कार्यकाल में अब तक विभिन्न विभागों के 200 से अधिक अधिकारियों व कर्मचारियों को अनिवार्य सेवानिवृत्ति प्रदान की है। अब तक 400 से अधिक अधिकारियों व कर्मचारियों के खिलाफ निलंबन व पदावनत करने की कार्रवाई की गई है।
दो साल में ऊर्जा विभाग में सबसे अधिक कार्रवाई
राज्य सरकार ने दो वर्षो में ऊर्जा विभाग के 169 अधिकारियों, गृह विभाग के 51, ट्रांसपोर्ट विभाग के 37, राजस्व विभाग के 36, बेसिक शिक्षा विभाग के 26, पीडब्ल्यूडी के 18, पंचायतीराज विभाग के 25, श्रम विभाग के 16, संस्थागत वित्त विभाग के 16, कामर्शियल टैक्स के 16, मनोरंजन कर विभाग के 16, ग्राम्य विकास के 15 तथा वन विभाग के 11 अधिकारियों के खिलाफ कार्रवाई की है।
भविष्य निधि घोटाले में एपी मिश्र व सुधांशु के घर छापा
लखनऊ : भविष्य निधि घोटाला मामले में लखनऊ जेल में बंद पावर कॉरपोरेशन पूर्व निदेशक एपी मिश्र, पूर्व निदेशक (वित्त) सुधांशु द्विवेदी और सचिव ट्रस्ट पीके गुप्ता से आर्थिक अपराध अनुसंधान शाखा (ईओडब्ल्यू) ने गुरुवार को दिनभर पूछताछ की। देर शाम ईओडब्ल्यू ने एपी मिश्र व सुधांशु द्विवेदी के घरों पर छापा मारा।